गूगल करने जा रही है 30 हजार कर्मचारियों की छंटनी,पहले ही 12 हजार लोगों को दिखा चुकी है बाहर का रास्ता
दुनिया की दिग्गज टेक कंपनी गूगल में एक बार फिर से छंटनी के बादल मंडराने लगे हैं. कंपनी ने इस साल की शुरुआत में 12000 कर्मचारियों को बाहर का रास्ता दिखाया था. यह कंपनी के इतिहास में अब तक की सबसे बड़ी छंटनी थी. अब गूगल अपनी विज्ञापन सेल्स यूनिट में बदलाव करने जा रही है. इसके बाद से कर्मचारियों के बीच फिर से छंटनी की प्रक्रिया शुरू होने की चर्चाएं होने लगी हैं. इस डिपार्टमेंट में लगभग 30 हजार लोग काम करते हैं. गूगल के सीईओ सुंदर पिचई ने हाल ही में कहा था कि छंटनी की प्रक्रिया को कंपनी ने ठीक तरीके से नहीं किया।
हालांकि, उन्होंने छंटनी को कंपनी के भविष्य के लिए बहुत जरूरी कदम बताते हुए जायज ठहराया था. उनका कहना था कि अगर ऐसा नहीं किया जाता तो आगे जाकर गूगल को बहुत दुष्परिणाम देखने को मिलते. हालांकि, 2023 की शुरुआत में की गई छंटनी के बाद किसी को नहीं निकाला गया है.सूचना के अनुसार, पिछले हफ्ते हुई बैठक में गूगल अमरीका एंड ग्लोबल पार्टनर्स के प्रेसिडेंट सॉन डाउनी (Sean Downey) ने एड सेल्स टीम को रीस्ट्रक्चर करने के प्लान के बारे में बताया. हालांकि, उन्होंने मीटिंग के दौरान छंटनी का जिक्र नहीं किया मगर, कंपनी में कर्मचारियों के बीच आशंका के बादल मंडराने लगे. गूगल लगतार आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) में निवेश करती जा रही है. इसके अलावा कंपनी मशीन लर्निंग का इस्तेमाल एड परचेज में कर रही है. एआई के इस्तेमाल से हर जगह लोगों की नौकरियों पर खतरा मंडरा रहा है. इसलिए एम्प्लॉईज आशंकित हैं. यदि कंपनी कर्मचारियों को नौकरी से नहीं निकालती है तो उन्हें किसी दूसरे विभाग में ट्रांसफर किया जा सकता है. गूगल ने इस मसले पर अभी तक कुछ नहीं कहा है.गूगल की पेरेंट कंपनी अल्फाबेट (Alphabet) ने मंदी की आशंका के चलते 12 हजार लोगों को नौकरी से निकाल दिया था. पिचई ने कहा था कि हमने प्रभावित कर्मचारियों को सूचित करने का सही तरीका नहीं आजमाया. इससे उनके मनोबल पर बुरा प्रभाव पड़ा. सुंदर पिचई ने कहा था कि गूगल में हमने 25 सालों में ऐसा समय कभी नहीं देखा. गूगल ने इस प्रक्रिया को अच्छी तरह से नहीं संभाला. हमें कर्मचारियों को एक ही समय में सूचित नहीं करना चाहिए था।