लोकसभा में वन नेशन वन इलेक्शन के समर्थन में पड़े 269 वोट और विरोध में पड़े 198 वोट
लोकसभा में ‘वन नेशन वन इलेक्शन बिल पेश’ कर दिया गया। विपक्षी सांसदों के विरोध के बाद इस बिल को स्वीकार करने के लिए वोटिंग कराई गई। बिल के समर्थन में 269 और विरोध में 198 वोट पड़े हैं।तेलगू देशम पार्टी (TDP) ने इस बिल का समर्थन किया है। चंद्रबाबू नायडू की पार्टी के सांसद चंद्रशेखर ने कहा कि एक साथ चुनाव होने से देश का पैसा बचेगा।कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने कहा कि ये बिल वोट देने के अधिकार पर चोट है। ये बिल संविधान की मूल भावना पर हमला है।TMC ने भी इस बिल का विरोध किया है। कल्याण बनर्जी ने कहा कि ये बिल संविधान के ढांचे पर हमला है। राज्यों की विधानसभा केंद्र के अधीन नहीं है।
ये चुनाव सुधार नहीं, सिर्फ एक आदमी की जिद है।कांग्रेस और समाजवादी पार्टी ने इस बिल का विरोध किया है। सपा सांसद धर्मेंद्र यादव ने कहा कि ये बिल संविधान की मूल भावना पर चोट पहुंचाता है। संघीय ढाचे को खत्म करने की कोशिश की जा रही है। कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने कहा कि एक राष्ट्र, एक चुनाव विधेयक संविधान के मूल ढांचे के सिद्धांत पर हमला है।वन नेशन, वन इलेक्शन’ बिल पर कांग्रेस सांसद राजीव शुक्ला ने कहा, ‘मेरा मानना है कि यह पूरी तरह से निरर्थक शुरुआत है। इससे किसी भी तरह से मदद नहीं मिलने वाली है। जब तक ऐसा प्रावधान नहीं होता कि किसी भी स्थिति में सदन अगले पांच साल तक भंग न हो, तभी आप इस उद्देश्य को प्राप्त कर सकते हैं।