विपक्षी एकता बनने से पहले मायावती ने सीएम नीतीश को दे दिया बड़ा झटका,आनंद मोहन की रिहाई पर बरसी BSP चीफ
बिहार के मुख्यमंत्री और जनता दल युनाइटेड नेता तीश कुमार इन दिनों 2024 के लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भारतीय जनता पार्टी के खिलाफ विपक्षी दलों को एकजुट करने की कोशिश में जुटे हैं। हालांकि, उन्हें अपने पड़ोसी राज्य उत्तर प्रदेश में बड़ा झटका लगा है। बहुजन समाज पार्टी सुप्रीमो मायावती ने आनंद मोहन की रिहाई की तैयारी को दलितों के अपमान से जोड़ा है। आपको बता दें कि बिहार सरकार ने हाल ही में एक कानून संसोधन किया है, जिसके बाद उनकी रिहाई आसान हो जाएगी। इतना ही नहीं, नीतीश कुमार सार्वजिनक मंचों से भी कई बार यह कह चुके हैं कि वह आनंद मोहन की रिहाई के लिए जो भी संभव है वह कर रहे हैं।वही दूसरी तरफ बता दें कि पूर्व केंद्रीय मंत्री और बीजेपी नेता सुब्रह्मण्यम स्वामी पटना में कहा कि नीतीश कुमार अगर 2024 में प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार होते हैं तो यह अच्छी बात होगी। उनक एनडीए का ही है। नीतीश कुमार जेपी आंदोलन के समय से ही उनके दोस्त रहे हैं। हालांकि उन्होंने अभी तक खुद ऐसा नहीं कहा है, लेकिन मीडिया में उनके प्रधानमंत्री उम्मीदवार होने की बातें चलती रहती हैं।वही इस दौरान उन्होंने स्वामी ने इस दौरान कांग्रेस पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि कांग्रेसी अपने समय की बातें भूल जाते हैं। उन्होंने ईमरजेंसी लगाकर कोई अच्छा काम नहीं किया था। भाजपा में कार्यकर्ता और पब्लिक तय करती हैं कौन प्रधानमंत्री होगा।वही दूसरी तरफ बता दें कि सुब्रह्मण्यम स्वामी शनिवार को पटना में एक कार्यक्रम में शामिल होने आए। इस दौरान उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की विपक्षी एकता की मुहिम से जुड़े सवाल पर पत्रकारों से ये बातें कहीं। स्वामी ने कहा कि उनकी आज सीएम नीतीश से मुलाकात नहीं हो सकी। मगर वे दिल्ली आएंगे तो उनसे जरूर पीएम उम्मीदवारी के बारे में पूछेंगे।वही आपकों बतातें चले कीसुब्रह्मण्यम स्वामी ने नीतीश की एनडीए में वापसी के सवा पर कहा कि हमारा और नीतीश कुमार का डीएनए एक ही काही खून है। हमसे मिलेंगे तो हमारे साथ जाएंगे।