23 जून की मीटिंग से पहले महागठबंधन को लगा बड़ा झटका,कांग्रेस प्रवक्ता का इस्तीफा,सीएम नीतीश पर उठाए सवाल
केंद्र की सरकार से बीजेपी को बेदखल करने के लिए 23 जून को विपक्षी दलों की पटना महा बैठक होने वाली है इसके पहले विपक्षी एकता की सबसे बड़ी पार्टी कांग्रेस में नीतीश के नेतृत्व पर बगावत हो गई है। पार्टी के बिहार प्रवक्ता कुंतल कृष्ण ने पद और कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। कुंतल कृष्ण ने सरकार और विपक्षी एकता की मुहिम में नीतीश कुमार के नेतृत्व पर सवाल खड़ा किया है।बिहार सियासत लगातार करवट ले रही है। महागठबंधन के घटक दलों के नेता एक के बाद एक नीतीश कुमार को झटका दे रहे हैं। पहले जीतन राम मांझी की पार्टी नीतीश कुमार से अलग हो गई। अब कांग्रेस के प्रवक्ता कुंतल कृष्ण ने पर पद और पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने अपनी पार्टी पर आरोप लगाया है कि कांग्रेस ने नीतीश कुमार के सामने सरेंडर कर दिया है। उन्होंने कहा है कि नीतीश के कुमार ने हमेशा कांग्रेस का विरोध किया और पार्टी उन्हें तरजीह दे रही है। वही इधर बताते चलें कि बिहार की सियासत में पूर्व सीएम जीतनराम मांझी अभी पूरी तरह छाए हुए हैं। बीते रविवार को मांझी के बेटे संतोष सुमन ने नीतीश कैबिनेट से से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद मांझी ने महागठबंधन छोड़ने का ऐलान किया। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का साथ छोड़ने के बाद उन अगला कदम क्या होगा, इस पर वे 19 जून को फैसला करे इस दिन उन्होंने हिंदुस्तान आवाम मोर्चा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक बुलाई है। मांझी एनडीए में जाने के अलावा थर्ड फ्रंट बनाने पर भी विचार कर रहे हैं। इस बैठक में वे अहम फैसला ले सकते हैं।HAM के राष्ट्रीय अध्यक्ष संतोष कुमार सुमन ने शुक्रवार को कहा कि पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक 19 जून को हो रही है। इसमें महागठबंधन सरकार से समर्थन वापसी का निर्णय लिया जाएगा। उसके बाद महामहिम से मिलकर सरकार से समर्थन वापसी का पत्र सौंपेंगे। उन्होंने बताया कि हमारे सामने कई विकल्प हैं। थर्ड फ्रंट पर भी विचार हो रहा है।बिहार के सियासी गलियारों में जीतनराम मांझी के एनडीए में जाने की अटकलें सबसे तेज हैं। पिछले दिनों उन्होंने दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से भी मुलाकात की थी। चर्चा है कि बीजेपी ने मांझी को आगामी लोकसभा चुनाव में एक स देने का प्लान बना दिया है, जिस पर संतोष सुमन को टिकट दिया जा सकता है। इसके अलावा जीतनराम मांझी को राज्यपाल का पद भी ऑफर किया जा सकता है। हालांकि, अभी तक आधिकारिक रूप से कुछ नहीं कहा गया है।