कांग्रेस और बसपा आज अमित शाह के खिलाफ करेगी विरोध प्रदर्शन,इस्तीफे की करेगी मांग

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डॉ. भीवराव आंबेडकर को लेकर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की टिप्पणी के खिलाफ आज कांग्रेस और बसपा विरोध प्रदर्शन करेगी. कांग्रेस महासचिव के सी वेणुगोपाल का कहना है कि पार्टी देशभर के जिला कलेक्ट्रेट तक बाबासाहेब आंबेडकर सम्मान मार्च का आयोजन करेगी. साथ ही साथ शाह के इस्तीफे की मांग वाली याचिका जिला कलेक्टरों के माध्यम से राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को सौंपी जाएगी.वहीं, बहुजन समाज पार्टी (बीएसपी) प्रमुख मायावती ने ट्वीट कर ऐलान किया है कि बसपा केंद्रीय गृह मंत्री से संसद में बाबा साहेब विरोधी टिप्पणी को वापस लेने की मांग करेगी.

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इसके लिए मायावती ने पार्टी की ओर से 24 दिसंबर को देश भर में जिला मुख्यालयों पर शांतिपूर्ण धरना-प्रदर्शन को सफल बनाने की सर्वसमाज से अपील की. उन्होंने कहा कि बाबा साहेब के नाम पर छलावापूर्ण राजनीति करने वालों से सावधानी जरूरी है.इधर, कांग्रेस नेता वेणुगोपाल ने आरोप लगाया कि शाह की टिप्पणी ने आंबेडकर का अपमान किया है और संवैधानिक मूल्यों को बनाए रखने वालों को गहरी ठेस पहुंचाई है. वेणुगोपाल ने कहा, ‘इसके बावजूद न तो शाह, न ही प्रधानमंत्री और न ही बीजेपी ने खेद व्यक्त किया है. इसके बजाय, उन्होंने भड़काऊ तरीके से अपने रुख का बचाव किया और आंबेडकर की छवि को जॉर्ज सोरोस की छवि से बदल दिया, जिससे आंबेडकर का और अधिक अपमान हुआ.’उन्होंने बीजेपी पर असहमति जताने वाले विपक्षी नेताओं के खिलाफ मामले दर्ज करने और संसद की कार्यवाही में बाधा डालने का आरोप लगाया. उन्होंने कहा कि शाह की टिप्पणी आरएसएस और बीजेपी की मानसिकता को दर्शाती है, जो संविधान की अतीत की आलोचना को “भारतीय नहीं” बताती है.वेणुगोपाल ने सवाल किया, ‘अगर कांग्रेस के किसी सांसद ने ऐसी टिप्पणी की होती, तो क्या वे तब भी अपने पद पर बने रहते?’ उन्होंने मीडिया पर इस मुद्दे को दबाने का आरोप लगाया और इसे सीधे लोगों तक ले जाने की कसम खाई. वेणुगोपाल ने 26 और 27 दिसंबर को कर्नाटक के बेलगावी में महात्मा गांधी के कांग्रेस अध्यक्ष चुने जाने की 100वीं वर्षगांठ मनाने की घोषणा की. उन्होंने कहा कि कार्यक्रमों में 26 दिसंबर को कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक और 27 दिसंबर को बीजेपी के संविधान विरोधी कार्यों को उजागर करने के लिए ‘जय भीम, जय संविधान’ रैली शामिल है.

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