पाकिस्तान के पूर्व पीएम नवाब शरीफ के बड़े बोल आया सामने,कहा-देश की हालात सही होती तो G20 पाकिस्तान में हुई होती

 पाकिस्तान के पूर्व पीएम नवाब शरीफ के बड़े बोल आया सामने,कहा-देश की हालात सही होती तो G20 पाकिस्तान में हुई होती
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पूरी दुनिया में जी20 शिखर समिट की सफलता पर भारत की तारीफ हो रही है। वहीं पड़ोसी देश पाकिस्तान तिलमिलाया हुआ है। पाकिस्तानी आवाम अपनी सरकार की अक्षमता पर उसे कोस रही है। वहीं पाकिस्तानी हुक्मरान मूक दर्शक बने इस सफलता को देख रहे हैं। जी20 समिट को लेकर पाकिस्तानी आवाम ने अपने देश की कंगाल हालत का रोना रोया और सरकार को खूब कोसा। वहीं पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने जी20 को लेकर अलग ही राग अलापा है। कंगाल पाकिस्तान जहां महंगाई आसमान छू रही है, अपने देश की विदेशी इमारतों को गिरवी रखने की नौबत आ रही हो, देश की तिजोरी पूरी तरह से खाली हो, कर्ज लेकर देश चलाया जा रहा हो, वहां पूर्व पीएम नवाज शरीफ ने जी20 समिट को पाकिस्तान में कराने पर ऐसी बात कही जिससे हंसी आ जाए।पाकिस्तान के पूर्व पीएम नवाज शरीफ जो लंदन में निर्वासित जीवन बिता रहे हैं, उन्होंने जी20 समिट के भारत मे सफलतापूर्व संपन्न होने पर अपनी बात कही है। नवाब ने कहा कि ‘पाकिस्‍तान में भी जी20 आयोजित करने की क्षमता है अगर राजनीतिक हालात ठीक हों। यह बात नवाज शरीफ ने लंदन में मीडिया से बात करते हुए कही।

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पाकिस्‍तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के मुखिया नवाज ने जी20 सम्‍मेलन पर जिस तरह से प्रतिक्रिया दी है, उस प्रतिक्रिया पर ‘खिसियानी बिल्ली खंभा नोंचे’ वाली कहावत बिल्कुल ठीक बैठती है। नवाज ने सफाई देते हुए कहा कि’ अगर देश के राजनीतिक हालात साल 2017 वाले होते तो पाकिस्‍तान इस सम्‍मेलन की मेजबानी कर रहा होता।’ मीडिया ने नवाज से सवाल किया था कि भारत में जी20 का आयोजन हो रहा है और पाकिस्‍तान इसमें शिरकत नहीं कर रहा है? इस पर उन्‍होंने जवाब दिया कि अगर उनकी सरकार के नेतृत्व वाली नीतियां जारी रहतीं तो पाकिस्तान जी20 शिखर समिट को होस्ट कर सकता था। जी20 समिट भारत के लिहाज से काफी कामयाबी वाला रहा। जहां एक ओर भारत ने अफ्रीकी देशों के संगठन को जी20 देशों के समूह में शामिल करा लिया। वहीं सर्वसम्मति से नई दिल्ली घोषणापत्र पारित करा दिया। यही नहीं, घोषणापत्र में रूस यूक्रेन की जंग को लेकर रूस को कटघरे में न खड़ा करना, यह भारत के लिए बड़ी कूटनीतिक उपलब्धियों वाला रहा। भारत के इस कदम से रूस भी हैरान हो गया। रूसी विदेश मंत्री ने भी भारत के इस कदम की सराहना की। यहां तक कि इस मामले में चीन ने भी जी20 को सराहा और सफल आयोजन पर चीनी सरकार के मुखपत्र ‘ग्लोबल टाइम्स’ ने तारीफ की। भारत ने जी20 समिट के बहाने अपनी छवि को दुनिया में और मजबूत किया है। वहीं यह समिट चीन और पाकिस्तान की हरकतों के खिलाफ ताकतवर रूप से भारत के उभरने के लिहाज से सफल रही। बड़े मंच पर भारत का कद बढ़ा। इस समिट में भारत मिडिल ईस्ट से लेकर यूरोप तक इकोनॉमिक कॉरिडोर बनने की घोषणा दूरगामी रूप से भारत के लिए बेहद फायदेमंद है। वहीं जी20 देशों के बीच आपसी कारोबार की प्रगति भी भारत के लिए फायदेमंद रहेगी।

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