मोदी सरकार का बड़ा फैसला,कैबिनेट बैठक में नेशनल Quantum मिशन को मिली मंजूरी
मोदी कैबिनेट की अहम बैठक में आज National Quantum Mission को मंजूरी मिल गई है. इसके तहत करीब 6000 करोड़ रुपये खर्च करने की योजना है. Quantum Technology में रिसर्च और डवलपमेंट को बढ़ावा देने पर जोर होगा.ऐसे में देश के कई कंपनियों ने इस फैसला को खूब सराहा है।जैसा कि टाटा कंसल्टेंसी, HCL, Mphasis जैसी कंपनियों की Quantum Technology दिलचस्पी में है.दरअसल बता दें कि कैबिनेट की बैठक में राष्ट्रीय क्वांटम मिशन को मंजूरी दे दी गई है. इस मिशन से क्वांटम कंप्यूटिंग, क्वांटम कम्युनिकेशन और क्वांटम रिसर्च को बढ़ावा मिलेगा. कैबिनेट ने सिनेमैटाग्राफ एक्ट में बदलाव करने और संबंधित विधेयक को भी मंजूरी दे दी है. इस विधेयक को संसद के अगले सत्र में पेश किया जाएगा. वही बता दें कि Cinematograph Act 1952 में बदलाव को भी मंजूरी मिल गई है. उम्र के आधार पर फिल्म की कैटेगरी U/A में तीन सब कैटेगरी बनाई जा सकती है. UA 7+, UA 13+, UA 16+ की सब कैटेगरी बनाने का प्रस्ताव था.आपको बता दें कि देश में सेंसर बोर्ड को सेंट्रल बोर्ड ऑफ फिल्म सार्टिफिकेट के तौर पर जाना जाता है. इसे शॉर्ट फॉर्म में CBFC कहकर बुलाते हैं जो एक गॉवर्नमेंट रेगुलैटरी बॉडी है.वही आपकों बतातें चले कि इसका गठन साल 1952 में सिनेमेटोग्राफ एक्ट के तहत हुआ था. इसका मेन काम होता है किसी फिल्म को एक्जाइमिन करना. उसका टेस्ट करना.किसी भी फिल्म को रिलीज होने से पहले सेंसर बोर्ड की सहमति से होकर गुजरना पड़ता है. इस दौरान इस बात का ध्यान रखा जाता है कि फिल्म के किसी भी सीन्स या विचारधारा से कोई ओफेंड ना हो रहा हो और उसमें कुछ आपत्तिजनक ना हो.