महंगाई और बेरोजगारी जैसे मुद्दों पर बीजेपी सरकार को घेरने की तैयारी में जुटी विपक्ष

विधानसभा का बजट सत्र 18 फरवरी से शुरू होगा और 5 मार्च तक चलेगा। 16 दिनों तक चलने वाले सत्र के हंगामेदार होने के आसार हैं। हालांकि सदन शांतिपूर्ण चलाने के लिए कवायद की जा रही है।18 फरवरी को सत्र की शुरुआत विधानसभा और विधान परिषद की संयुक्त बैठक में राज्यपाल आनंदीबेन पटेल के अभिभाषण से होगी। प्रयागराज महाकुंभ में हुए हादसे, महंगाई और बेरोजगारी जैसे मुद्दों पर विपक्ष ने सदन में सरकार को घेरने की रणनीति बनाई है। मिल्कीपुर उपचुनाव में भाजपा की एकतरफा जीत के बाद सपा प्रमुख अखिलेश यादव के आक्रामक तेवरों को देखते हुए साफ है कि इस मुद्दे पर भी सत्ता पक्ष और विपक्ष में खींचतान होगी। केंद्रीय बजट की तरह प्रदेश के बजट अभिभाषण के विरोध की भी विपक्ष ने तैयारी की है।

इन सबके बीच विधानसभा सत्र 5 मार्च तक चलाने की रूपरेखा फाइनल हो गई है।इस बार प्रदेश का बजट लगभग आठ लाख करोड़ रुपये का होने की उम्मीद है, जो केंद्रीय बजट का लगभग 16 फीसदी होगा। इस बजट में केंद्र प्रायोजित योजनाओं के तहत राज्य को बढ़े हुए आवंटन को शामिल किया जाएगा। चूंकि केंद्र में इस बार मध्यम वर्ग पर खास फोकस किया गया है, इसलिए उम्मीद है कि प्रदेश के बजट में भी इसका असर दिखेगा। किसानों के कल्याण के लिए बजट की मोटी धनराशि का प्रावधान होगा। तकनीक, रोजगार और बुनियादी ढांचे पर होने वाले खर्च के मद में भी ज्यादा बजट होगा।