जो एकदूसरे से नफरत करते थे अब एक परिवार की तरह साथ हैं-ज्योतिरादित्य सिंधिया का विपक्षी महाजुटान पर हमला
संसद के मानसून सत्र में मणिपुर हिंसा का मुद्दा छाया हुआ है. केंद्र सरकार और विपक्षी दलों के बीच इस मुद्दे पर लगातार गतिरोध बना हुआ है.विपक्षी दलों के गठबंधन ‘I.N.D.I.A.’ के सांसदों की ओर से संसद परिसर में मणिपुर पर पीएम मोदी के बयान की मांग को लेकर प्रदर्शन जारी है. वही इधर बताते चलें कि कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि नियम 198 के तहत हमारे पास अविश्वास प्रस्ताव है. इस नियम के अनुसार चर्चा तुरंत होनी चाहिए. एमएम सरकार नहीं चाहती कि सदन के अध्यक्ष उनसे सवाल पूछें. वे मुद्दों से बचने के लिए बहाने दे रहे हैं. वही आपको बताते चलें कि आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद राघव चड्ढा ने कहा, ”संसदीय परंपरा कानून प्रक्रिया के तहत जब अविश्वास प्रस्ताव लोकसभा में पेश होता है और उसे मंजूर कर लिया जाता है तो कोई भी विधेयक या बिल सदन के भीतर नहीं लाया जाता. जब तक अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा नहीं होती. इस बार तमाम नियमों को ताख पर रखते हुए बिल पेश किए जा रहे हैं और उन्हें पारित किया जा रहा है, जो दु:खद है. मैं लोकसभा अध्यक्ष और केंद्र सरकार से अपील करता हूं कि जब तक अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा और मतदान नहीं हो जाता, तब तक कोई बिल पेश न किया जाए. दरअसल आपको मालूम हो कि बीजेपी सांसद जगन्नाथ सरकार ने एएनआई से बातचीत में कहा कि मुझे नहीं पता, राहुल गांधी को राजनीतिक इतिहास के बारे में कितनी जानकारी है. उन्होंने कहा, ”वो हमेशा गलत बयानी करते हैं. ये चर्चा संसद में हो जाए तो कांग्रेस के खिलाफ जनमत तैयार हो जाएगा. 1960 में मणिपुर के लिए जवाहर लाल नेहरु एक कानून लाए, जिसकी वजह से ये हालात हैं. उन्होंने कहा कि कांग्रेस संसद में बहस नहीं चाहती है. वो केवल पीएम मोदी पर सवाल खड़े करना चाहते हैं. उन्हें पहले बहस करनी चाहिए, फिर उसके बाद पीएम मोदी उनके सवालों के जवाब देंगे। हालांकि आपको जानकारी देते चले कि केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने विपक्षी दलों के गठबंधन I.N.D.I.A. पर निशाना साधते हुए कहा कि जो पार्टियां एकदूसरे से नफरत करती थीं, अब एक परिवार की तरह साथ आ रही हैं. उन्होंने कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी और बीजेपी पर लोगों का विश्वास है. इसके साथ ही उन्होंने दावा किया कि बीजेपी एक बार फिर से 2024 के लोकसभा चुनाव में जीत हासिल करेगी.